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Hindustan Zink ने मजदूरों को नौकरी से निकाला,हिन्दुस्तान जिंक प्रबंधन के रसुखो के आगे सरकारों के आदेश दिखे बौने।मजदूरों ने जिला कलेक्टर को सौपा ज्ञापन।

https://youtu.be/jjoCxY2BbiYvideo
लॉकडाउन का दंश मजदूरो पर भारी, हिंदुस्तान जिंक कम्पनी ने मजदूरो को नोकरी से निकाला। हिन्दुस्तान जिंक प्रबंधन के रसुखो के आगे सरकारों के आदेश दिखे बौने , केन्द्र सरकार की एडवाजिरी पालना करने जिंक प्रबंधन आदेशों की उडा रहा  धज्जियां।
चित्तौड़गढ़। लॉकडाउन का दंश देश की गरीब जनता और मजदूरो पर भारी पड़ने लगा है  लोकडाउन में देशभर के कई युवा बेरोजगार हुए है काफी कर्मचारियों मजदूरो को  बड़ी कम्पनीयो ने नौकरी से निकाल दिया  है। 
वही चित्तौड़गढ़ स्थित देश की सबसे बड़ी औधोगिक इकाई हिंदुस्तान जिंक की ठेका कम्पनियो ने सेंकडो की संख्या में गरीब मजदूरो को नॉकरी से निकाल दिया है। सेंकडो मजदूरो के घर परिवार पर तलवार लटक गई है। कोरोना महामारी के चलते जहा पूरा देश लोकडाउन था। सभी मजदूर कर्मचारी सरकार व हिंदुस्तान जिंक के आदेशों के चलते अपने अपने घरों पर बैठे थे। सरकार व जिंक कम्पनियो ने मजदूरो को पूरी सैलेरी देने व पुनः लोकडाउन के बाद नॉकरी पर आने को कहा था, लेकिन जैसे ही लोकडाउन खत्म हुआ। मजदूर हिंदुस्तान जिंक फैक्ट्री में काम पर लौट आये किन्तु जिंक कम्पनियों ने 
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अपने सुर बदल लिए और मजदूरो को काम पर रखने को मना कर दिया। हिंदुस्तान जिंक कम्पनियो के मजदूरो ने आरोप लगाया कि बिना किसी पूर्व सूचना के हम मजदूरो को फैक्ट्री में प्रवेश करने पर मना कर दिया गया और काम करने से मना कर दिया गया। मजदूरो का यह दर्द शायद बया नही कर सकते। हिंदुस्तान जिंक की ठेका कंपनियों पी टी एम, श्री राम एंड नर्सरी, टी ई आर आई, एम एम एग्रोटेक के सभी मजदूर परेशान होकर जिला कलेक्टर कार्यालय पहुँच कर ज्ञापन दिया और मांग करने लगे कि हमे पूरी पूरी सैलेरी दिलवाई जाए व नॉकरी पर यथावत रखा जाए अन्यथा आंदोलन कर धरना प्रदर्शन किया जाएगा।

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